बेटियों को शास्त्र के साथ शस्त्र कि भी ट्रेनिंग ज़रूरी, बेटियों को शिक्षित और सामर्थ्यवान बनाना समाज का दायित्व - विश्वनाथ आर्लेकर, राज्यपाल बिहार
बिहार के राज्यपाल विश्वनाथ आर्लेकर ने सेवा भारती, पटना महानगर द्वारा आचार्य श्री सुदर्शन पटना सेंट्रल स्कूल, पटना में आयोजित कन्या पूजन अनुष्ठान में देवी के नौ स्वरूपों में कन्याओं का पूजन किया।

पटना: बिहार के राज्यपाल विश्वनाथ आर्लेकर ने सेवा भारती, पटना महानगर द्वारा आचार्य श्री सुदर्शन पटना सेंट्रल स्कूल, पटना में आयोजित कन्या पूजन अनुष्ठान में देवी के नौ स्वरूपों में कन्याओं का पूजन किया।
इस अवसर पर उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि हमारे परिवार में कन्या का जन्म होना सौभाग्य माना जाता है। हम खुश होते हैं कि हमारे घर में बेटी का जन्मदिन हुआ है । कन्या को हम लक्ष्मी का रूप मानते हैं। किसी पिता के जीवन की पूर्णता कन्यादान से मानी जाती है। कन्या का विवाह होने पर उसकी विदाई के समय हम दुःखी भी होते हैं।
राज्यपाल ने कहा कि आज की परिस्थिति में कन्याओं को संरक्षण देने की आवश्यकता है। उन्हें शिक्षित बनाना हमारा सामाजिक और पारिवारिक दायित्व है। हमें सुनिश्चित करना होगा कि हमारे आसपास और पड़ोस की बच्चियाँ भी विद्यालय जाएँ और शिक्षित बनें। बेटियों को संरक्षण देना, पढ़ाना और उन्हें आगे बढ़ाना पूरे समाज का दायित्व है।
राज्यपाल के कहा कि आज की परिस्थिति में बेटियों के उपर आनेवाली आपत्तियों को ध्यान में रखते हुए उन्हें शास्त्र के साथ-साथ शस्त्र में भी निपुण कर शक्तिसम्पन्न और सर्वसमर्थ बनाना ज़रूरी है। उन्हें जूडो, कराटे के साथ-साथ अस्त्र-शस्त्रों के संचालन की जानकारी होनी चाहिए ताकि वे अपने उपर होने वाले अत्याचार का मुकाबला कर खुद अपनी रक्षा कर सकें। बेटियों का पूजन और सम्मान करना हमारे संस्कार और हमारी परंपरा में शामिल है। वे हमारे लिए प्राण से भी प्रिय होती है, किन्तु उन्हें शिक्षित होने के साथ-साथ सामर्थ्यवान भी होना चाहिए।
कार्यक्रम को आचार्य श्री सुदर्शन जी महाराज एवं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के क्षेत्र प्रचारक श्री रामनवमी प्रसाद ने भी संबोधित किया।
इस अवसर पर बिहार लोक सेवा आयोग की सदस्य प्रो० दीप्ति कुमारी, विंग कमांडर श्री नरेन्द्र कुमार, डॉ० वीणा कुमारी सिंह, बड़ी संख्या में बच्चियाँ एवं अन्य लोग उपस्थित थे।
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